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गर्भावस्था का भोजन

गर्भावस्था का भोजन


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मौसमी: मौसमी के फल में कैल्शियम अधिक मात्रा में मिलता है। गर्भवती स्त्रियों और गर्भाशय के बच्चे को शक्ति प्रदान करने के लिए इसका रस पौष्टिक होता है।1. नारंगी:
गर्भवती स्त्री को प्रतिदिन दो नारंगी दोपहर में पूरे गर्भकाल में खिलाते रहने से होने वाला शिशु बहुत सुन्दर होता है।

3. नारियल: नारियल और मिश्री खाने से प्रसव में दर्द नहीं होता है तथा उत्पन्न संतान स्वस्थ होती है।
4. शहद: गर्भावस्था में महिलाओं के शरीर में रक्त की कमी आ जाती है। गर्भावस्था के समय रक्त बढ़ाने वाली चीजों का अधिक सेवन करना चाहिए। महिलाओं को दो चम्मच शहद प्रतिदिन सेवन करने से रक्त की कमी नहीं होती है। इससे शारीरिक शक्ति बढ़ती है और बच्चा मोटा और ताजा होता है। गर्भवती महिला को गर्भधारण के शुरू से ही या अन्तिम तीन महीनों में दूध और शहद पिलाने से बच्चा स्वस्थ और मोटा ताजा होता है।
5. गाजर: आधा गिलास गाजर का रस, आधा गिलास दूध व स्वादानुसार शहद मिलाकर प्रतिदिन पीने से गर्भावस्था की कमजोरी दूर होती है।

योनि में जलन और खुजली का होना

योनि में जलन और खुजली का होना


इसमें योनि से पीला या काले रंग का बदबूदार स्राव होता है और साथ ही साथ खुजली व जलन होती है।परिचय:

विभिन्न भाषाओं में नाम:


हिन्दी

योनिदाह, योनि में खुजली।

गुजराती

योनि मा बडतर अने खाज।

बंगाली

जोनिदाह, जोनिकण्डु।

मराठी

योनिदाह, योनि में खुजति।

मलयालम

योनि इरिसिल कोरिसिल।

तमिल

पेनकुरि एरिछछ्ल।

डोगरी

पेरबली जुगुदि जलन थियकुंगु।

अरबी

जोनिमुखशोथ।

अंग्रेजी

बर्निग सन्शेसन एण्ड प्रुराइटिस आ दि वल्वा।
कारण:
1. कत्था: कत्था (खादिर सार) 5 ग्राम, विंडग 5 ग्राम और हल्दी 5 ग्राम की मात्रा में लेकर पानी के साथ पीसकर योनि पर लगाने से योनि में होने वाली खुजली शांत हो जाती है।
2. नीम:
3. नारियल: नारियल तेल 50 ग्राम और 3 ग्राम कपूर (कर्पूर) को  मिलाकर योनि पर लेप करने से योनि की खुजली से छुटकारा मिलता हैं।
4. अजवायन:
5. कमल: कमल की जड़ को पानी के साथ अच्छी तरह से पीसकर पेस्ट बनाकर दाद और योनि की खुजली वाले भाग पर लगाने से खुजली शांत हो जाती है।
6. त्रिफला:
7. आंवला: आंवले का रस 20 ग्राम, 10 ग्राम शहद और 5 ग्राम मिश्री को मिलाकर मिश्रण बना लें, फिर इसी को पीने से योनि की जलन समाप्त हो जाती है।
8. अमरूद: अमरूद के पेड़ की जड़ को पीसकर 25 ग्राम की मात्रा में लेकर 300 मिलीलीटर पानी में डालकर पका लें, फिर इसी पानी को साफ कपड़े की मदद से योनि को साफ करने से योनि में होने वाली खुजली समाप्त हो जाती है।
9. चंदन: चंदन के तेल में नींबू के रस को मिलाकर योनि पर लगाने से योनि में होने वाली खुजली मिट जाती है।
10. चमेली: चमेली के तेल में कपूर को मिलाकर लगाने से योनि की खुजली मिट जाती है।
11. बावची: बावची और चंदन के तेल को समान मात्रा में लेकर मिला लें, फिर इसी बने तेल से योनि की मालिश करने से योनि में खुजली होना बंद हो जाती है।
12. गुलाबजल:
13. मेहंदी: मेहंदी के सूखे पत्ते 5 ग्राम, लाल चंदन 5 ग्राम, 3 ग्राम कपूर, नारियल 50 मिलीलीटर तेल को मिलाकर योनि पर लगाने से योनि में होने वाली खुजली समाप्त हो जाती है।
14. तिल: तिल का तेल 50 मिलीलीटर, नीम के पत्ते 10 ग्राम और मेहंदी के सूखे पत्ते 10 ग्राम की मात्रा में लेकर 10 ग्राम शुद्ध मोम में मिलाकर योनि पर लेप करने से योनि में होने वाली खुजली समाप्त हो जाती है।
15. सुहागा: एक चौथाई ग्राम भुना हुआ सुहागा या बोरिक एसिड को पानी में डालकर योनि को सुबह-शाम साफ करने से योनि में होने वाली खुजली मिट जाती हैं।
16. आमलकी: आमलकी का रस 7 मिलीलीटर से लेकर 14 मिलीलीटर, गुडूची 3 ग्राम, चीनी 5 से 10 ग्राम की मात्रा में लेकर सुबह-शाम पीने से योनि की खुजली में लाभ मिलता है।
17. एरण्ड: एरण्ड का तेल लगभग 7 मिलीलीटर से 14 मिलीलीटर को 100-250 मिलीलीटर दूध के साथ सुबह-शाम पीने से योनि की खुजली मिटती है।
18. खतमी: खतमी के बीज, मुल्तानी मिट्टी, मकोय के पत्तों के रस में मिलाकर योनि पर लगाने से योनि की खुजली मिटती है।
19. आंवला: आंवले के 20 मिलीलीटर रस में पांच ग्राम शक्कर और 10 ग्राम शहद मिलाकर पीने से योनि की जलन में अत्यंत आराम होता है।
20. अपामार्ग: अपामार्ग की जड़ को पीसकर रस निकाल लें। इस रस को रूई में भिगोकर योनि में रखने से योनिशूल और मासिक-धर्म की रुकावट मिटती है।